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प्रतापगढ़ ने गिव अप अभियान में किया कमाल, राज्य में सातवां स्थान!
Pratapgarh, Rajasthan
Slug : 0407ZRJ_PRTP_RATION_R
जिला : प्रतापगढ़
विधानसभा : प्रतापगढ़
खबर की लोकेशन : प्रतापगढ़
जिला संवादाता : हितेष उपाध्याय, 9079154796
हेडर/हेडलाईन : गिव अप अभियान में जागरूकता की मिसाल बना प्रतापगढ़, एनएफएसए नामांकन में पूरे प्रदेश में सातवें स्थान पर
एंकर/इंट्रो : राजस्थान सरकार की ओर से राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत चलाए जा रहे गिव अप अभियान और एनएफएसए नामांकन प्रक्रिया दोनों में प्रतापगढ़ जिले की सक्रिय भागीदारी सामने आई है। एक ओर जहां हजारों अपात्र परिवारों ने योजना से नाम हटवाया है, वहीं जरूरतमंदों को लाभ दिलाने की दिशा में राज्य स्तर पर उल्लेखनीय स्थान प्राप्त भी किया है। खाद्य सुरक्षा को पारदर्शी और लक्षित बनाने की यह दोहरी प्रक्रिया जिले में सुशासन की मिसाल बन रही है।
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राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 के तहत गिव अप अभियान की वैधता अवधि 31 अगस्त 2025 तक बढ़ा दी गई है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के निदेशन में राज्य सरकार वंचित वर्गों के उत्थान हेतु निरंतर कार्य कर रही है। इसी दिशा में गिव अप अभियान के अंतर्गत अपात्र लाभार्थियों की पहचान कर स्वेच्छा से योजना से बाहर किया जा रहा है। जिला रसद अधिकारी रामचंद्र शेरावत ने बताया कि खाद्य सुरक्षा प्रदान करने के संबंध में राजस्थान खाद्य सुरक्षा नियम 2023 की अनुसूची के तहत वे परिवार अपात्र माने गए हैं, जिनमें कोई आयकरदाता हो, कोई सदस्य सरकारी, अर्द्धसरकारी अथवा स्वायत्तशासी संस्था में कार्यरत हो, जिनकी वार्षिक पारिवारिक आय एक लाख से अधिक हो या जिनके पास चार पहिया वाहन हो। प्रतापगढ़ जिले में 01 नवम्बर 2024 से प्रारंभ इस अभियान के तहत अब तक 2030 परिवारों के कुल 8711 सदस्यों ने स्वेच्छा से खाद्य सुरक्षा योजना का लाभ छोड़ा है। वहीं राज्यभर में अब तक कुल 22 लाख 31 हजार 899 लोगों ने योजना से नाम कटवाया है। प्रतापगढ़ जिले में अब तक 74 हजार 568 अपात्र परिवारों की यूनिट हटाई गई है और 3 जुलाई तक 340 अपात्र परिवारों को नोटिस जारी किए गए हैं, जिनसे वसूली की कार्रवाई की जाएगी।
बाईट 1 - रामचंद्र शेरावत, जिला रसद अधिकारी ( 30 सेकेंड)
वहीं दूसरी ओर खाद्य सुरक्षा से अपात्रों को हटाने के साथ-साथ सरकार यह भी सुनिश्चित कर रही है कि जरूरतमंद परिवार योजना से जुड़ सकें। प्रतापगढ़ जिले में एनएफएसए में नाम जुड़वाने की प्रक्रिया में भी उल्लेखनीय सक्रियता देखी गई है। जिले ने इस प्रक्रिया में राज्य में सातवां स्थान हासिल किया है। अब तक जिले में 14748 आवेदन प्राप्त हुए हैं, जिनमें से 10608 आवेदन स्वीकृत किए जा चुके हैं। वहीं 2312 फॉर्म सेंड बैक किए गए हैं, जिनमें पाई गई कमियों को ठीक करवाकर पुनः निस्तारण करवाया जाएगा। राज्यभर में प्रतापगढ़ इस निस्तारण प्रक्रिया में भी सातवें स्थान पर बना हुआ है, जो जिले की प्रशासनिक तत्परता और नागरिकों की सहभागिता का परिचायक है।
बाईट 2 - रामचंद्र शेरावत, जिला रसद अधिकारी ( 29 सेकेंड)
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