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Mathura281502

यूपी में शिक्षकों के लिए डिजिटल हाजिरी दो माह के लिए स्थगित

Jul 17, 2024 07:58:33
Govardhan, Uttar Pradesh

उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव से मुलाकात के बाद शिक्षकों को राहत मिली है। साथ ही डिजिटल अटेंडेंस सिस्टम को दो महीने के लिए स्थगित कर दिया गया है। इस दौरान एक विशेषज्ञ समिति शिक्षकों के मुद्दों पर विचार करेगी। मथुरा में शिक्षकों ने खुशी जताते हुए मिठाई बांटी।

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VMVimlesh Mishra
Dec 09, 2025 10:05:50
Mandla, Madhya Pradesh:मण्डला - दशकों से नक्सलवाद का दंश झेल रहे मण्डला जिले में नक्सलियों का अंत हुआ। केंद्र सरकार की तय समय सीमा मार्च 2026 के पहले ही मण्डला नक्सल मुक्त हुआ। छत्तीसगढ़ की सीमा से लगे जिले के वनांचल क्षेत्र मोतीनाला, मवई ओर बिछिया थाना क्षेत्रों में बीते कई वर्षों से नक्सली दल जैसे कान्हा भोरमदेव दलम, बोड़ला कमेटी ओर खटिया मोचा दलम के करीब 50 सशक्त नक्सली सक्रिय थे जो न केवल ग्रामीणों के लिए ख़ौफ़ का सबब थे बल्कि पुलिस ओर वन विभाग के लिए चुनोती भी थे लेकिन बीते करीब 2 सालों से नक्सलियों के खिलाफ पुलिस की कार्यवाहियां ओर ग्रामीणों के बीच चलाये गए जनजागरूकता ओर रोजगारोन्मुखी कार्यक्रमो ने नक्सलियों की कमर तोड़ दी। पुलिस ने एक रणनीति के तहत नक्सलियों के जंहा एनकाउंटर किये गए वंही इनके लिए बनाई गई पुनर्वास नीति से अवगत कराया गया फलस्वरूप नक्सलियों ने हथियार डाले और जिला नक्सलमुक्त हुआ। पुलिस अधीक्षक रजत सकलेचा का कहना है कि हमने एक रणनीति के तहत बीते वर्षो में जिले को नक्सल मुक्त करने काम किया। हमारे प्रयास सफल हुए और जिला नक्सल मुक्त हुआ।
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DGDeepak Goyal
Dec 09, 2025 10:05:00
Jaipur, Rajasthan:राज्य सरकार ने किरायेनामों का पूरा गणित बदल दिया है। पहले लोग 11 महीने का एग्रीमेंट कराते थे। ताकि न रजिस्ट्रेशन कराना पड़े… न स्टाम्प ड्यूटी चुकानी पड़े। लेकिन अब एक महीने की किरायेदारी भी रजिस्ट्रेशन के दायरे में होगी। नए नियम कहते हैं जितना लंबा किराया, उतनी ज्यादा स्टैंप ड्यूटी…और अगर विवाद हुआ तो ‘कागज़ नहीं तो हक़ नहीं। यानी मालिक और किरायेदार, दोनों के लिए अब ‘नोटरी की मुहर’ से काम नहीं चलेगा… कानूनी दस्तावेज़ को रजिस्टर्ड कराना ज़रूरी होगा। सरकार का दावा राजस्व बढ़ेगा, अधिकार स्पष्ट होंगे। लेकिन चुनौती नियमों को लेकर जागरूक कौन करेगा? क्या किरायेदार अब और महंगा किराया भुगतेंगे? क्या मालिकों का फर्जी समझौता खेल अब बंद? …बहरहाल, किरायानामे की रजिस्ट्री को अनिवार्य करने से सरकार का उद्देश्य न केवल राजस्व बढ़ाना है, बल्कि मकान मालिक और किरायेदार के अधिकारों को कानूनी सुरक्षा देना भी है। अब किराये पर दी जाने वाली अचल सम्पत्ति से जुड़े शर्तों, जिम्मेदारियों और अवधि को लिखित रूप में सुरक्षित किया जा सकेगा। विवाद की स्थिति में यह दस्तावेज अदालत में प्रमाणिक साक्ष्य की तरह मान्य होगा। नए नियमों के लागू होने से 11 माह के करार का ‘बचाव फार्मूला’ समाप्त हो रहा है। छोटे से छोटे अवधि वाले किरायेनामे की भी कानूनी वैल्यू सुनिश्चित होगी। इसलिए जो भी संपत्ति किराये पर दें या लें किरायानामा बनवाकर उसे रजिस्टर्ड कराना अब जरूरी हो गया है।
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ADAbhijeet Dave
Dec 09, 2025 10:04:24
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VSVISHAL SINGH
Dec 09, 2025 10:03:25
Noida, Uttar Pradesh:जैसा कि विदित है कि आज से संसद में चूंकि चुनाव सुधार को लेकर चर्चा हो रही है। अतः बी.एस.पी. की ओर से इस सम्बन्ध में यह कहना है कि चुनाव की प्रक्रिया में अन्य सुधार लाने के साथ-साथ निम्न तीन ख़ास सुधार लाना बहुत ज़रूरी हैं। SIR को लेकर जो पूरे देश में व्यवस्था चल रही है BSP उसके विरोध में नहीं है। परन्तु BSP का यह कहना है कि इस सम्बन्ध में मतदाता सूची में नाम भरने की जो भी प्रक्रिया होनी है, उसके लिए जो समय सीमा निर्धारित की गई है वो बहुत ही कम है, जिसकी वजह से BLO के ऊपर भी काफी दबाव है और कई BLO काम के दबाव के वजह से अपनी जान भी गवां चुके हैं। जहाँ करोड़ों मतदाता हैं वहाँ BLO को उचित समय मिलना ही चाहिये और ख़ासतौर पर उस प्रदेश में जहाँ जल्दी ही कोई भी चुनाव नहीं है। उत्तर प्रदेश में लगभग 15.40 करोड़ से भी ज़्यादा मतदाता हैं और अगर वहाँ SIR का कार्य जल्दबाज़ी में पूरा करने की कोशिश की जायेगी तो इसका नतीजा यह होगा कि अनेकों वैध-मतदाता ख़ासतौर पर जो गरीब हैं और काम करने के सिलसिले में बाहर गये हैं, तो फिर उनका नाम मतदाता सूची से रह जायेगा और वो बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर जी द्वारा ऐसे व्यक्तियों को दिया गया वोट डालने का संवैधानिक अधिकार से वंचित कर देगा, जो कि पूर्ण रूप से अनुचित होगा। अतः ऐसे में SIR की प्रक्रिया को पूरी करने में जल्दबाज़ी ना करते हुये उचित समय दिया जाना चाहिये अर्थात् वर्तमान मे दी गई समय सीमा को बढ़ाना चाहिये। इसके साथ ही, मा. सर्वोच्च न्यायालय के निर्देशानुसार चुनाव आयोग द्वारा निर्देश जारी किये गये हैं। ऐसे लोग जिनका कोई भी आपराधिक इतिहास है उन्हें अपने हलफनामें में इसका अपने आपराधिक इतिहास का पूरा ब्योरा देना होगा और इसके साथ-साथ स्थानीय अख़बारों में भी इसका पूरा विवरण भी प्रकाशित करना होगा तथा जिस राजनैतिक पार्टी से वे चुनाव लड़ रहे हैं, उस राजनैतिक पार्टी की भी ज़िम्मेदारी होगी कि वह इस सूचना को अपने स्तर से भी राष्ट्रीय अख़बारों में भी प्रकाशित करेगी। इस सम्बन्ध में BSP का कहना है कि अक्सर यह पाया गया है कि जिस व्यक्ति को चुनाव लड़ने के लिए टिकट/सिम्बल दिया जाता है उनमें से कुछ लोग अपना आपराधिक इतिहास पार्टी को नहीं बतातें हैं तथा कुछ लोगों के सम्बन्ध में स्क्रूटनी (scrutiny) के समय ही पार्टी को इसका पता लग पाता है, जिसकी वजह से इसकी ज़िम्मेवारी पार्टी के ऊपर आ जाती है और वैसे भी ऐसे प्रत्याशियों के आपराधिक इतिहास को राष्ट्रीय अख़बारों में छपवाने की ज़िम्मेवारी पार्टी के ऊपर डाली गयी है। जबकि इस सम्बन्ध में हमारी पार्टी का यह सुझाव है कि आपराधिक छवि वाले प्रत्याशियों के सम्बन्ध में सभी औपचारिकताएं पूरी करने की ज़िम्मेदारी उन्हें ही पर डालनी चाहिये ना कि पार्टी के ऊपर होनी चाहिये। और अगर आगे चलकर यह मालूम होता है कि किसी प्रत्याशी ने अपना आपराधिक इतिहास छुपाया है तो इससे सम्बद्ध हर प्रकार की कानूनी liability और ज़िम्मेदारी भी उसी पर आनी चाहिये ना कि पार्टी के ऊपर। इसके इलावा हमारी पार्टी का यह भी सुझाव है कि EVM के द्वारा उसमें लगातार उठती गड़बड़ियों की शिकायत जो चुनाव के दौरान और उसके बाद व्यक्त की जाती है उसे दूर करने के लिए और चुनाव प्रक्रिया में सभी का पूर्ण रूप से विश्वास पैदा करने के लिए अब EVM के द्वारा vote डलवाने की जगह पुनः बैलेट पेपर से ही vote डलवाने की प्रक्रिया लागू की जाये और अगर किसी वजह से ऐसा अभी नहीं किया जा सकता है तो कम से कम VVPAT के डब्बे में जो vote डालते समय पर्ची (slip) गिरती है उन सभी पर्चियों की गिनती सभी बूथों में करके EVM के वोटों से मिलान किया जाये। ऐसा ना करने का जो कारण Election Commission द्वारा बताया जाता है, कि इसमें काफी समय लग जायेगा जबकि इनका यह तर्क बिलकुल भी उचित नहीं है। क्योंकि अगर सिर्फ कुछ और घन्टे गिनती में लग जाते हैं तो इससे कोई फर्क नहीं पड़ना चाहिये, जबकि वोट डालने की चुनाव प्रक्रिया महीनों चलती है। और यह इसलिए भी जरूरी है कि इससे देश की आमजनता का चुनाव प्रक्रिया में विश्वास बढ़ेगा तथा इस प्रकार के जो अनेकों प्रकार के सन्देह उत्पन्न होते हैं उनपर भी पूर्ण विराम लगेगा, जो देश हित में होगा।
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DTDinesh Tiwari
Dec 09, 2025 10:02:51
Jaipur, Rajasthan:जयपुर विद्यालय की लापरवाही कतई बर्दाश्त नहीं - शिक्षा मंत्री शिक्षा मंत्री मदन दिलावर का देवली (आऊंवा) स्कूल पर औचक निरीक्षण। स्कूल में अव्यवस्थाएं देखकर मंत्री ने जताई कड़ी नाराजगी। कार्यवाहक प्रधानाचार्य से नामांकन और परीक्षा परिणाम की ली जानकारी। कमजोर रिज़ल्ट पर मंत्री ने जताया गंभीर असंतोष। विद्यार्थियों की पढ़ाई में सुधार के दिए सख्त निर्देश। स्टाफ की उपस्थिति रजिस्टर की गई जांच। मंत्रालयिक कर्मचारी कुणाल शर्मा नवंबर से लगातार अनुपस्थित पाए गए। एसडीएम महावीर को मेडिकल प्रमाणपत्र की जांच के निर्देश। डीईओ राहुल राजपुरोहित को अनुपस्थित शिक्षक पर कार्रवाई के आदेश।
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SMSHARAD MAURYA
Dec 09, 2025 10:02:37
Bhadohi Nagar Palika, Khamaria, Uttar Pradesh:खबर भदोही से है जहां निजी पार्वती हॉस्पिटल में प्रसव के लिए भर्ती कराई गई एक महिला रीता देवी की इलाज के दौरान मौत हो गई, जिसके बाद अस्पताल प्रशासन पर गंभीर लापरवाही के आरोप लगे हैं परिजनों के अनुसार, महिला को प्रसव पीड़ा बढ़ने पर भर्ती किया गया था। देर रात ऑपरेशन की तैयारी के दौरान डॉक्टरों ने खून की कमी बताई और तुरंत खून लाने को कहा। परिजनों का कहना है कि वे समय से खून लेकर पहुँचे, लेकिन इसके बावजूद उन्हें बताया गया कि मरीज को रेफर किया जा रहा है थोड़ी देर बाद महिला की मौत की सूचना दे दी गई। परिजनों ने आरोप लगाया है कि जब उन्होंने डॉक्टर से लापरवाही के बारे में सवाल किया, तो डॉक्टर मनोज चौहान ने जवाब दिया “डॉक्टर हैं, गलती हो जाती है”, जिससे परिजन और अधिक आक्रोशित हो गए। परिवार का कहना है कि यह संवेदनहीनता और गंभीर लापरवाही का मामला है, जिसकी उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए। महिला की मौत के बाद परिवार और स्थानीय लोगों में गुस्सा है। नवजात बच्चे को अस्पताल में भर्ती किया गया है और उसकी हालत स्थिर बताई जा रही है। बताया जा रहा है कि पार्वती हॉस्पिटल पहले भी कई बार लापरवाही और अन्य कारणों से विवादों में रहा है पूरे मामले की सूचना स्वास्थ्य विभाग और पुलिस को दे दी गई है, और परिजनों ने निष्पक्ष जांच व न्याय की मांग की है।
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KRKishore Roy
Dec 09, 2025 10:02:00
Noida, Uttar Pradesh:काशीरामजयपुर。 उपमुख्यमंत्री डॉ प्रेमचन्द बैरवा ने सचिवालय में ली बैठक。 ‘आरोग्य ग्राम योजना’ के अंतर्गत आयोजित हुई महत्वपूर्ण बैठक。 ग्राम को पूर्णतः स्वस्थ और सशक्त बनाने पर हुई चर्चा。 बैठक में विभिन्न विभागों के प्रतिनिधियों, स्वास्थ्य विशेषज्ञों, सामाजिक संगठनों व जनप्रतिनिधियों द्वारा दिए गए सुझाव。 ग्राम स्तर पर स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करने एवं जन-जागरण बढ़ाने के लिए सुझाव साझा किए。 संपूर्ण ग्राम को निरोगी, जागरूक और स्वावलंबी बनाने का व्यापक अभियान。 साफ वातावरण, स्वच्छ पानी, पौष्टिक आहार, नियमित व्यायाम और समय पर स्वास्थ्य जांच है स्वस्थ समाज की आधारशिला।
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VSVISHAL SINGH
Dec 09, 2025 09:52:03
Noida, Uttar Pradesh:हमें किसी के “वंदे मातरम्” पढ़ने या गाने पर आपत्ति नहीं है, लेकिन मुसलमान केवल एक अल्लाह की इबादत करता है और अपनी इबादत में अल्लाह के सिवा किसी दूसरे को शामिल नहीं कर सकता। और “वंदे मातरम्” का अनुवाद शिर्क से संबंधित मान्यताओं पर आधारित है, इसके चार श्लोकों में देश को देवता मानकर “दुर्गा माता” से तुलना की गई है और पूजा के शब्दों का प्रयोग हुआ है। साथ ही “माँ, मैं तेरी पूजा करता हूँ” यही वंदे मातरम् का अर्थ है। यह किसी भी मुसलमान की धार्मिक आस्था के खिलाफ है। इसलिए किसी को उसकी आस्था के खिलाफ कोई नारा या गीत गाने के लिए मजबूर नहीं किया जा सकता। क्योंकि भारत का संविधान हर नागरिक को धार्मिक स्वतंत्रता (अनुच्छेद 25) और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता (अनुच्छेद 19) देता है। वतन से प्रेम करना अलग बात है, उसकी पूजा करना अलग बात है। मुसलमानों की देशभक्ति के लिए किसी के प्रमाण-पत्र की आवश्यकता नहीं है। स्वतंत्रता संग्राम में उनकी कुर्बानियाँ इतिहास के सुनहरे पन्नो में दर्ज हैं। हम एक खुदा (अल्लाह) को मानने वाले हैं, अल्लाह के सिवा न किसी को पूजनीय मानते हैं और न किसी के आगे सजदा करते हैं। हमें मर जाना स्वीकार है, लेकिन शिर्क (खुदा के साथ किसी को शामिल करना) कभी स्वीकार नहीं!
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MKMohammad Khan
Dec 09, 2025 09:51:28
Bhilwara, Rajasthan:भीलवाड़ा। रोडरेज का मामला सामने आया है। हाल यह हो गया कि दो वाहन चालकों ने बीच रास्ते ही एक दूसरे को पीट दिया। इस घटना के चलते मौके पर आधे से पौन घंटे का जाम लग गया। बाद में पहुंची पुलिस ने मामला शांत कराने के साथ ही जाम खुलवाया। दरअसल भीलवाड़ा के सर्किट हाउस चौराहे पर दो वाहनों के बीच भिड़ंत हो गई। इसके बाद वाहन चालकों में मारपीट शुरू हो गई, जिससे एक व्यक्ति लहूलुहान हो गया। इस विवाद के कारण करीब पौन घंटे तक चौराहे पर लंबा जाम लग गया। घटना के बाद भी पुलिस मौके पर समय पर नहीं पहुंच सकी, जिससे स्थिति और बिगड़ गई। सूचना मिलने पर प्रताप नगर थाना पुलिस मौके पर पहुंची और एक वाहन चालक को थाने ले गई। वहीं रास्ते से जाम खुलवाकर आवागमन को चालू कराया गया। सर्किट हाउस चौराहे के नजदीक की स्थिति वाहन चालकों के लिए असमंजस की रहती है। इसके चलते हादसे होते रहते है तो वहीं चालक आमने-सामने हो जाते है।
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