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लखीमपुर खीरी में बाढ़ से रेलवे ट्रैक पर खतरा, स्थानीय लोग जुटे मदद में!
Baibahamunnusingh, Uttar Pradesh
Name_Dileep Mishra
'साथी हाथ बढ़ाना,एक अकेला थक जाएगा मिलकर बोझ उठाना ' साहिल लुधियानवी के गीत की यह लाइन लखीमपुर खीरी में चरितार्थ होती नजर आ रही है मामला मैलानी नानपारा रेलवे ट्रैक के नीचे हो रहे रिसाव से जुड़ा है हर बार की तरह इस बार भी शारदा नदी अपने विकराल रूप में आ रही है जिसके चलते अतरिया के पास रेलवे ट्रैक पर खतरा मंडराने लगा है एहतियातन इस मार्ग पर रेल आवागमन रोक दिया गया है। जहां रेलवे अधिकारी ट्रैक को बचाने के लिए काम कर रहा है वही स्थानीय लोगों ने कारसेवा के माध्यम से श्रमदान कर न सिर्फ ट्रैक बचाने का प्रयास कर रहे हैं बल्कि सैकड़ो एकड़ जमीन को जलमग्न होने से रोकने के लिए लगे हुए हैं। हालांकि अभी एक से डेढ़ लाख क्यूसेक तक पानी डिस्चार्ज हो रहा है लेकिन आने वाले समय में रेल विभाग और ग्रामीणों की मुसीबत और चुनौतियां बढ़ती जाएगी। फिलहाल जो तस्वीर है वह कहीं ना कहीं प्रशासन और आम जनता के बीच एक जुटता प्रदर्शित कर रही है। जो भी हो बाढ़ के पानी द्वारा बनाए जा रहे कटों को जाल ,पत्थर की सहायता से भरने का काम शुरू कर दिया गया है इसमें स्थानीय लोग बढ़ चढ़कर श्रमदान कर रहे हैं। उम्मीद की जाने चाहिए किसने की मेहनत रंग लाएगी और उनकी खेती डूबने से बच जाएगी। 7 जुलाई तक मिट्टी के कटान होने के चलते फिलहाल ट्रेनों का संचालन बंद कर दिया गया है।
बाइट _ किसान
बाइट_ रत्नाकर मिश्रा (एसडीएम पलिया)
बाइट_ रेलवे अधिकारी
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