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Mainpuri205001

Mainpuri - दबंगों ने मंदिर पर किया कब्जा,ग्रामीणों ने डीएम कार्यालय पर किया विरोध प्रदर्शन

Dec 26, 2024 09:39:10
Mainpuri, Uttar Pradesh

बीबर थाना क्षेत्र के गांव जोगा में मंदिर पर जबरियां गांव के ही दबंगों ने कब्जा कर लिया है। जिसकी शिकायत करने ग्रामीण  जिला अधिकारी कार्यालय पहुंच गए। ग्रामीणों ने बताया कि वह मंदिर की जमीन दो बीघा से अधिक है,जिस पर लेखपाल द्वारा रुपए लेकर दबंगों के पक्ष में जमीन को नाप दिया है,वह गलत है। 

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RVRajat Vohra
Dec 03, 2025 11:17:18
Jammu, :जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला के बयान पर श्री माता वैष्णो देवी संघर्ष समिति के संयोजक रिटायर्ड कर्नल सुखबीर मनकोटिया ने कहा कि मुख्यमंत्री इस समय जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री के तौर पर बात नहीं कर रहे हैं, बल्कि वह एक विशेष समुदाय के प्रतिनिधि के तौर पर बयान दे रहे हैं। जहां तक बात रही इस जमीन की तो यह जमीन देश की जमीन है जम्मू कश्मीर की जमीन है और किसी के भी निजी जमीन नहीं है और सरकारी सामाजिक कार्यों के लिए जमीन देती हैं और इसके लिए एक प्रक्रिया तय की गई है । बाकी जहां तक रही उमर अब्दुल्ला की बात तो वह एक सियासी पार्टी से आते हैं और उन्हें इस मुद्दे से हिंदू मुस्लिम करके सियासी माइलेज लेनी है। जबकि समिति हिंदुओं और सनातनियों के आस्था क्यों ध्यान में रखकर कार्य कर रही है और किसी का भी हक छीना नहीं जाए इस पर हम काम कर रहे हैं। जम्मू-कश्मीर में माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड के मेडिकल कॉलेज को लेकर विवाद गहरा गया है। मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला के बयानों पर संघर्ष समिति और सनातन धर्म सभा ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। उनका आरोप है कि उमर अब्दुल्ला मामले को धार्मिक रंग दे रहे हैं और हिंदुओं की भावनाओं का सम्मान नहीं कर रहे हैं। भाजपा ने भी उमर अब्दुल्ला के बयानों की आलोचना की है।
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PSPradeep Sharma
Dec 03, 2025 11:16:25
Bhind, Madhya Pradesh:चंबल पुल से छलांग लगाकर छात्रा ने की आत्महत्या, बीएससी सेकंड ईयर की छात्रा थी ज्योति कैन, परिजनों ने हत्या कर शव को चम्बल में फेंकने का लगाया आरोप। भिंड के एमजेएस कॉलेज बीएससी सेकंड ईयर की छात्रा ने संदिग्ध परिस्थितियों में चंबल नदी के पुल से कूद कर आत्महत्या कर ली है, घटना के बाद फूप थाना पुलिस ने उत्तर प्रदेश की इटावा पुलिस के सहयोग से रेस्क्यू कर डेड बॉडी को बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल लाई है, मृत छात्रा के परिजनों ने हत्या का आरोप लगाते हुए मामले की जांच की मांग की है, जानकारी के अनुसार भिंड शहर के चंदनपुर स्थित 30 नंबर दो में रहने वाले अशोक केन की बेटी ज्योति घर से स्कूल जाने के लिए निकली थी, और वह घर नहीं पहुंची तो उन्होंने शहर कोतवाली थाना पुलिस से संपर्क गुमशुदा की सूचना दी थी, परिजनों का कहना है की उनकी बेटी चंबल पुल कैसे पहुंची और उसने पुल से छलांग लगाकर आत्महत्या कर ली, प्रत्यक्ष दर्शियों के अनुसार पुल पर पहुंचने के बाद युवती ने पुल के ऊपर से छलांग लगा दी जिसकी जानकारी कुछ लोगों ने फूप थाना पुलिस को दी मौके पर पहुंची पुलिस ने उत्तर प्रदेश पुलिस के सहयोग से नदी से रेस्क्यू कर छात्रा के शब को बाहर निकाला पुल के ऊपर छोड़े हुए स्कूल बैग से छात्रा के दस्तावेज बरामद हुए जिससे उसकी पहचान हुई और परिजनों को सूचना दी गई, पुलिस ने छात्रा के सोशल मीडिया अकाउंट के माध्यम से आत्महत्या के कारणों की तलाश प्रारंभ कर दी है, परिजनों ने बेटी के साथ हुई घटना को हत्या का मामला बताते हुए कुछ युवक और युवतियों के नाम पुलिस बताएं है और कहा है कि उनकी बेटी को परेशान किया जा रहा था, परिजनों ने पुलिस से निष्पक्ष जांच की मांग की है।
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RRRakesh Ranjan
Dec 03, 2025 11:15:40
Noida, Uttar Pradesh:रिपोर्ट: नागेन्द्र मणि त्रिपाठी。 Date: 3-11-2025 लोकेशन गोरखपुर SLUG: सीएम योगी का दो दिवसीय दौरे पर गोरखपुर पहुंचे ANCHOR: गोरखपुर से इस वक्त की बड़ी खबर—मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अपने दो दिवसीय दौरे पर गोरखपुर पहुंच गए हैं। उनका उड़नखटोला गोरखपुर पहुंचते ही सुरक्षा-व्यवस्थाएं कड़ी कर दी गईं। उरुवा क्षेत्र के चचाईराम मठ पहुंचे सीएम योगी ने मठ के महंत पंचानन्द पूरी के निधन पर गहरी संवेदना व्यक्त की। मुख्यमंत्री ने महंत के चित्र पर पुष्प अर्पित किए और शोक संतप्त परिवार व मठ के अनुयायियों से मुलाकात कर ढांढस बंधाया। इसके बाद मठ के नवनियुक्त उत्तराधिकारी से भी सीएम योगी ने मुलाकात कर मठ की व्यवस्थाओं के बारे में जानकारी ली। इस दौरान बड़ी संख्या में पुलिस प्रशासन के अधिकारी मौजूद रहे। विधायक राजेश त्रिपाठी, जिलाध्यक्ष जनार्दन तिवारी सहित क्षेत्रीय नेता भी मुख्यमंत्री के स्वागत में मौजूद रहे। सीएम योगी दौरे के दौरान क्षेत्रीय नेताओं से मुलाकात करेंगे और आगे की कार्यक्रमों की रूपरेखा पर चर्चा करेंगे।
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MPMAHESH PARIHAR1
Dec 03, 2025 11:15:25
Jhalawar, Rajasthan:झालावाड़ के बस स्टैंड परिसर में अज्ञात व्यक्ति द्वारा लावारिस छोड़े गए 15 माह के शिशु को बाल कल्याण समिति ने अपने संरक्षण में ले लिया है। समिति के द्वारा शिशु का नामकरण भी किया गया है। ऐसे में यह लावारिस शिशु अब दुनिया में बजरंग के नाम से पहचाना जाएगा। शिशु को नया नाम से पुकारे जाने पर वह खिलखिला कर मुस्कुराने लगा, तो मौजूद लोगो की भी आँखें भर आई। बाल कल्याण समिति सदस्य पूर्णिमा सिकरवार ने बताया कि नवजात लावारिस शिशु मंगलवार को बाल कल्याण समिति के संरक्षण में आया था। ऐसे में लावारिस बालक के नामकरण तथा उसकी जन्मतिथि तय करने की जिम्मेदारी बाल कल्याण समिति की होती है। बुधवार को बाल कल्याण समिति के सभी सदस्यों ने मिलकर बालक का नाम बजरंग रखा है। उन्होंने बताया कि बालक की जन्म तिथि तय करने के लिए एक प्रक्रिया से गुजरना होता है, जिसमें बालक की शारीरिक विकास क्षमता तथा उसके मानसिक स्तर को ध्यान में रखते हुए चिकित्सीय सलाह के आधार पर जन्म तिथि को तय किया जाएगा। उन्होंने बताया कि तीन दिवस के बाद राज्य स्तरीय व लोकल समाचार पत्रों में बालक के माता-पिता व परिजनों को खोजने के लिए सूचना प्रकाशित की जाएगी। उधर मामले में जानकारी देते हुए दत्तक ग्रहण एजेंसी के विशेषज्ञ व सोशल वर्कर दीपक गौतम ने बताया कि शिशु बजरंग की तीन दिवसीय अवधि में सूचना के प्रकाशित होने के बाद 60 दिनों तक उसके माता-पिता व परिजनों का इंतजार किया जाएगा। इस अवधि में वह बाल कल्याण समिति के समक्ष आवेदन कर बालक को यहां से ले जा सकते हैं या बालक का सरेंडर कर सकते हैं। 60 दिनों की अवधि समाप्त होने के बाद बालक को विधि मुक्त कर दिया जाएगा। इसके बाद शिशु की जानकारी पोर्टल पर अपलोड कर दी जाती है, जहां से ऐसे दंपत्ति जिनकी गोद कई वर्षों से सुनी है, वो बच्चे को गोद लेने हेतु आवेदन कर सकेंगे। इस तरह से बालक को नए माता-पिता का साया मिल जाएगा। सोशल वर्कर दीपक गौतम ने बताया कि ऐसे दंपति महिला व पुरुष जो की संतान विहीन है या जिन्हें बच्चों की आवश्यकता है वह CARA पोर्टल पर जाकर आवेदन कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि आवेदन करने के लिए दंपति व एकल महिला पुरुष की मानसिक स्थिति स्वस्थ होनी चाहिए। साथ ही वांछित डॉक्यूमेंट को सबमिट कर पोर्टल पर आवेदन किया जा सकता है। उन्होंने बताया कि आवेदन करने के बाद रैंडमली बच्चा गोद लेने वाले दंपति व एकल महिला व पुरुष को एजेंसी के द्वारा मेल भेज कर इसकी सूचना दी जाती है। जिसके बाद बाल कल्याण समिति से संपर्क कर वह दत्तक पुत्र को ग्रहण कर सकते हैं
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DGDeepak Goyal
Dec 03, 2025 11:12:50
Jaipur, Rajasthan:एंकर- मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) के बीच लगातार सामने आ रहीं शिकायतों के बाद निर्वाचन विभाग ने एक अहम तकनीकी में बदलाव किया हैं.....जिससे हजारों मतदाताओं और बीएलओ की बड़ी समस्या दूर हो गई है। अब मोबाइल एप पर बीएलओ को मतदाताओं की कैटेगरी बदलने का अधिकार मिल गया है। यह बदलाव न सिर्फ मतदाताओं को राहत देगा बल्कि पूरी मैपिंग प्रक्रिया को भी नई रफ्तार देगा। वीओ-1-मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) अभियान में गणना प्रपत्र भरते समय 2002 की मतदाता सूची में नाम नहीं मिलने पर नो मैपिंग कैटेगरी में शामिल मतदाताओं के लिए राहत की खबर है। निर्वाचन आयोग ने बीएलओ के मोबाइल एप में एक अहम बदलाव किया है, जिसके चलते नो मैपिंग श्रेणी में फंसे मतदाताओं को अब आसानी से बाहर निकाला जा सकेगा। यह कदम न केवल मतदाताओं के लिए राहत लेकर आया है.....बल्कि पूरे पुनरीक्षण तंत्र की प्रभावशीलता भी बढ़ाएगा। दरअसल एसआईआर प्रक्रिया में गणना प्रपत्र भरते समय कई मतदाता अपने पुराने विवरण विशेषकर वर्ष 2002 की संकलन सूची तुरंत उपलब्ध नहीं करा पा रहे थे.....बीएलओ के पास विकल्प न होने के कारण ऐसे मतदाताओं को मजबूरी में मैपिंग नहीं हो रहीं थी……बाद में जब ये लोग अपनी पुरानी जानकारी ढूंढ लाते, तो मोबाइल एप में इस श्रेणी को सुधारने की सुविधा उपलब्ध नहीं होने से बीएलओ भारी दबाव में आ जाते थे। अब निर्वाचन आयोग ने बीएलओ एप को अपडेट कर यह समस्या दूर कर दी है। नई सुविधा के बाद बीएलओ किसी भी मतदाता की नो मैपिंग से मैपिंग की श्रेणी को तुरंत एडिट करने का ऑप्शन शुरू कर दिया हैं। यानी जिन मतदाताओं को पहले रिकॉर्ड न मिलने पर नो मैपिंग कैटेगरी में डालना पड़ता था, वे बाद में रिकॉर्ड मिलने पर बिना किसी अतिरिक्त प्रक्रिया के मैपिंग की श्रेणी में स्थानांतरित किए जा सकेंगे। इस बदलाव का सीधा फायदा मतदाताओं को तो मिलेगा ही, साथ ही निर्वाचन विभाग की कार्यप्रणाली भी सुचारु होगी। दस्तावेज़ सत्यापन का बोझ कम होगा और मतदाता मैपिंग प्रक्रिया को भी गति मिलेगी। एसआईआर अभियान के बीच यह अपडेट बीएलओ और मतदाताओं-दोनों के लिए राहत लेकर आया है बाइट-बीएलओ वीओ-2- किसी मतदाता या उसके रिश्तेदार का नाम वर्ष 2002 की मतदाता सूची में नहीं तो भी घबराने की बिल्कुल जरूरत नहीं है। निर्वाचन आयोग ने 13 ऐसे दस्तावेजों को मान्यता दी है जिसमें से भी कोई भी एक लगाकर अपने बीएलओ को दे सकते हैं। निर्वाचन आयोग के अनुसार एसआइआर-2026 का मुख्य उद्देश्य है कोई भी योग्य मतदाता छूटे नहीं और कोई भी अयोग्य मतदाता सूची में शामिल नहीं हो। इसके लिए या तो मतदाताओं का नाम 2002 की सूची में हो। खुद का नहीं है तो माता-पिता या अन्य नजदीकी रिश्तेदार को हो। किसी का भी नाम 2002 की सूची में नहीं है तो भी निर्वाचन आयोग ने विकल्प के रूप में 13 तरह के दस्तावेजों का मान्य माना है। इसमें सक्षम प्राधिकारी की ओर से जारी जन्म प्रमाण पत्र. पासपोर्ट, मान्यता प्राप्त बोर्ड से जारी दसवीं की अंकतालिका, शैक्षणिक प्रमाण पत्र. सक्षम राज्य प्राधिकारी की ओर से जारी स्थायी निवास प्रमाण पत्र. वन अधिकार प्रमाण पत्र. ओबीसी,एससी,एसटी या सदाम प्राधिकारी की ओर से जारी कोई भी जाति प्रमाण पत्र. राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (जहां मौजूद हो), राज्य या स्थानीय pradhikaranियों की ओर से तैयार किया गया परिवार रजिस्टर, सरकार की ओर से कोई भी भूमि /मकान आवंटन प्रमाण पत्र व आधार कार्ड शामिल हैं ये हैं वोटर की श्रेणियां पहली श्रेणी: जिन मतदाताओं का नाम 2025 व 2002 दोनों ही मतदाता सूचियों में दर्ज है। दूसरी श्रेणी: जिनका नाम 2002 की मतदाता सूची में नहीं है, लेकिन माता-पिता या दादा-दादी का नाम दर्ज है। तीसरी श्रेणी (नो मैपिंग): जिनका नाम तो 2025 की सूची में है, लेकिन न उनका, न अभिभावकों का और न दादा-दादी का नाम 2002 की सूची में मिला है। बहरहाल, एप अपडेट के बाद यह पहली बार है जब बीएलओ को रीयल-टाइम करेक्शन की सुविधा मिली है। चुनावी प्रक्रिया में इस छोटे लेकिन अहम बदलाव को जमीनी स्तर पर सबसे प्रभावी सुधार माना जा रहा है, क्योंकि इससे न मतदाताओं को कार्यालयों के चक्कर लगाने पड़ेंगे और न ही विभाग को अनावश्यक कागजी कार्रवाई में उलझना पड़ेगा।
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TCTanya chugh
Dec 03, 2025 11:12:30
Delhi, Delhi:वीरेंद्र सचदेवा अध्यक्ष, दिल्ली भाजपा इस उप चुनाव में कई चुके पहली बार देखने को मिली उपचुनाव का कोई रिवाज नहीं रही है सिवाय एक बार के 7 सीटों को जीतकर नगर निगम में अपनी सीटों को बढ़ाना बड़ी उपलब्धि और उसके लिए दिल्ली की जनता और मुख्यमंत्री को भी धन्यवाद दिया जाना चाहिए। भाजपा को 45 फीसदी वोट मिले हैं और आम आदमी पार्टी से 10 फीसदी ज़्यादा है और यह साबित करता है दिल्ली की जनता भी जानती है कि दिल्ली में भाजपा ही ऐसी पार्टी है जो दिल्ली में विकास कार्य कर सकती है। मैं सौरभ की पीड़ा समझ सकता हूँ वह जिस सीट पर विधायक 10 साल रहे हैं वहाँ हम 4000 से अधिक वोटो से जीते हैं जिसको वह हज़म नहीं कर पा रहे हैं। दिल्ली की जनता रेखा गुप्ता और नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में और नगर निगम में दिल्ली को सुंदर स्वच्छ बना सकते हैं इसके लिए अगर आपको वोट चोरी का आरोप लगाना है तो लगाइए हमे सिर्फ विकास कार्यों पर ध्यान देना है
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ACAshish Chauhan
Dec 03, 2025 11:11:53
Jaipur, Rajasthan:पूर्व मंत्री महेश जोशी को जल जीवन मिशन घोटाले में सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिल गई है। जयपुर सेंट्रल जेल में बंद जोशी करीब 7 महीने बाद बाहर आएंगे. कोर्ट ने 21 नवंबर को हुई सुनवाई में उनकी जमानत पर फैसला सुरक्षित रखा, जिसके बाद आज उन्हें जमानत मिली. 7 महीने बाद जेल से रिहाई होगी- कांग्रेस सरकार में जलदाय मंत्री रहे महेश जोशी को आज सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिल गई. 900 करोड़ के घोटाले में आरोपी महेश जोशी 7 महीने बाद जेल से बाहर आएंगे. जोशी को जल जीवन मिशन घोटाले में 24 अप्रैल को गिरफ्तार किया था. कांग्रेस नेता के वकीलों ने कहा कि पैसा जोशी के बेटे की फर्म के लिए लिया था. लेकिन लौटा दिया था. वहीं, ईडी ने जमानत का विरोध करते हुए कहा था कि- पैसा लौटाने से अपराध की गंभीरता कम नहीं होती है. राजस्था़न हाईकोर्ट ने 26 अगस्त को उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी थी. जिसके बाद जोशी ने सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर की थी. अभी तक मामले में ट्रायल शुरू नहीं हुआ—वकील महेश जोशी की के वकील सिद्धार्थ लूथरा और विवेक जैन ने कोर्ट में कहा कि महेश जोशी पिछले 7 महीने से जेल में हैं. अभी तक मामले में ट्रायल भी शुरू नहीं हुआ हैं. ईडी ने जो रिकॉर्ड पेश किए हैं. उनसे रिश्वत के आरोपों की पुष्टि नहीं होती है. ईडी के अनुसार महेश जोशी ने अपने बेटे की फर्म को लोन देने के नाम पर 55 लाख रुपए की रिश्वत ली थी. लेकिन यह पूरी राशि संबंधित फर्म को लौटाई जा चुकी है. अगर यह रिश्वत की राशि होती तो इसे वापस क्यों किया गया.इसका ईडी के पास कोई जवाब नहीं है. ऐसे में ट्रायल पूरी होने तक आरोपी को जमानत पर रिहा किया जाना चाहिए. ईडी ने याचिका के विरोध में क्या कहा? जमानत का विरोध करते हुए ईडी की ओर से कहा गया था कि प्रकरण में एसीबी की ओर से दर्ज अन्य एफआईआर में भी महेश जोशी की भूमिका को बताया गया है.जोशी के बेटे की फर्म में 55 लाख रुपए का लेन-देन किया गया है. याचिकाकर्ता की ओर से इस राशि को लौटाना भी बताया जा रहा है तो राशि लौटाने से अपराध की गंभीरता कम नहीं होती है. याचिकाकर्ता ने विभाग की टेंडर प्रक्रिया में रिश्वत ली है. यदि आरोपी को जमानत दी गई तो वह गवाहों को प्रभावित कर सकता है. इसलिए उसकी जमानत याचिका को खारिज किया जाए। ऐसे हुआ घोटाला- ग्रामीण पेयजल योजना के तहत सभी ग्रामीण इलाकों में पेयजल की व्यवस्था होनी थी. जिस पर राज्य सरकार और केंद्र सरकार को 50-50 प्रतिशत खर्च करना था. इस योजना के तहत डीआई डक्टर आयरन पाइपलाइन डाली जानी थी. इसकी जगह पर HDPE की पाइपलाइन डाली गई. पुरानी पाइपलाइन को नया बता कर पैसा लिया गया, जबकि पाइपलाइन डाली ही नहीं गई है. कई किलोमीटर तक आज भी पानी की पाइपलाइन डाली ही नहीं गई है, लेकिन ठेकेदारों ने जलदाय विभाग के अधिकारियों से मिल कर उसका पैसा उठा लिया. ठेकेदार पदमचंद जैन हरियाणा से चोरी के पाइप लेकर आया और उन्हें नए पाइप बता कर बिछा दिया. सरकार से करोड़ों रुपए ले लिए. ठेकेदार पदमचंद जैन ने फर्जी कंपनी के सर्टिफिकेट लगाकर टेंडर लिया. जिसकी अधिकारियों को जानकारी थी. इसके बाद भी उसे टेंडर दिया गया, क्योंकि वह एक राजनेता का दोस्त था.
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ACAshish Chauhan
Dec 03, 2025 11:11:32
Jaipur, Rajasthan:जयपुर- पूर्व मंत्री महेश जोशी को जल जीवन मिशन घोटाले में सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिल गई है। जयपुर सेंट्रल जेल में बंद जोशी करीब 7 महीने बाद बाहर आएंगे। कोर्ट ने 21 नवंबर को हुई सुनवाई में उनकी जमानत पर फैसला सुरक्षित रखा, जिसके बाद आज उन्हें जमानत मिली। 7 महीने बाद जेल से रिहाई होगी। कांग्रेस सरकार में जलदाय मंत्री रहे महेश जोशी को आज सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिल गई। 900 करोड़ के घोटाले में आरोपी महेश जोशी 7 महीने बाद जेल से बाहर आएंगे। जोशी को जल जीवन मिशन घोटाले में 24 अप्रैल को गिरफ्तार किया था। कांग्रेस नेता के वकीलों ने कहा कि पैसा जोशी के बेटे की फर्म के लिए लिया था, लेकिन लौटा दिया था। वहीं, ईडी ने जमानत का विरोध करते हुए कहा था कि पैसा लौटाने से अपराध की गंभीरता कम नहीं होती है। राजस्थन हाईकोर्ट ने 26 अगस्त को उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी थी, जिसके बाद जोशी ने सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर की थी। अभी तक मामले में ट्रायल शुरू नहीं हुआ—वकील महेश जोशी के वकील सिद्धार्थ लूथरा और विवेक जैन ने कोर्ट में कहा कि महेश जोशी पिछले 7 महीने से जेल में हैं। ईडी ने रिकॉर्ड पेश किए हैं, उनसे रिश्वत के आरोपों की पुष्टि नहीं होती है। ईडी के अनुसार महेश जोशी ने अपने बेटे की फर्म को लोन देने के नाम पर 55 लाख रुपए की रिश्वत ली थी, लेकिन पूरी राशि लौटाई जा चुकी है। अगर यह रिश्वत की राशि होती तो इसे वापस क्यों किया गया? इसका ईडी के पास कोई जवाब नहीं है। ऐसे में ट्रायल पूरी होने तक आरोपी को जमानत पर रिहा किया जाना चाहिए। जमानत का विरोध करते हुए ईडी की ओर से कहा गया था कि एसीबी की ओर से दर्ज अन्य एफआईआर में भी महेश जोशी की भूमिका बताई गई है। जोशी के बेटे की फर्म में 55 लाख रुपए का लेन-देन हुआ। याचिकाकर्ता ने रकम लौटाने का दावा किया है। अगर आरोपी को जमानत दी गई तो वह गवाहों को प्रभावित कर सकता है। इसलिए उसकी जमानत याचिका को खारिज किया जाए।
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BSBhanu Sharma
Dec 03, 2025 11:11:16
Dholpur, Rajasthan:धौलपुर पुलिस ने लूट के एक मामले में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार किए गए दो आरोपियों का सिर मुंडवाकर निहालगंज पुलिस में उनका शहर में जुलूस निकाला। मामला यूं है कि 30 नवंबर, 2025 को गेंदापुरा, सरमथुरा निवासी कल्याण सिंह (40), जो वर्तमान निवासी ओंडेला, सदर ने निहालगंज थाने में शिकायत दर्ज कराई थी। जिसमें उन्होंने बताया कि तीन लड़कों ने उनके साथ मारपीट कर 14,000 रुपये छीन लिए थे। जिस मामले में आरोपियों की गिरफ्तारी को लेकर वृत्ताधिकारी शहर धौलपुर कृष्णराज जांगिड आरपीएस के सुपरवीजन में, थानाधिकारी अमित कुमार शर्मा पु.नि. के नेतृत्व में एक विशेष टीम का गठन किया गया। गठित टीम ने तकनीकी साक्ष्यों और सीसीटीवी कैमरों की मदद से बदमाशों की पहचान की और उनकी तलाश की। गहन जांच के बाद, पुलिस ने दो मुख्य आरोपियों मोहित (20) पुत्र कमलसिंह जाटव और उत्तम (20) पुत्र रामबाबू जाटव को गिरफ्तार कर लिया। जिन्हें पूछताछ के बाद बुधवार को कोर्ट में पेश किया गया। पूछताछ के बाद निहालगंज पुलिस दोनों लुटेरों का बाजार में जुलूस के तौर पर निकाल कर ले गई। जहां दोनों आरोपियों को थाने से कोर्ट तक ले जाया गया。
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