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दिल्ली की खूनी नहर: बच्चों की जान का खतरा हर दिन!
Delhi, Delhi
खूनी नहर INTRO PKG*
PKG 1...*खूनी नहर INTRO PKG
PKG 1...
वीओ 1....देश की राजधानी दिल्ली वो जगह जहां हर किसी की नज़र रहती है। दिल्ली में घटने वाली हर छोटी से छोटी बड़ी से बड़ी घटनाएं राष्ट्रीय अखबारों की सुर्खियां बन जाती है। मौजूदा वक्त में दिल्ली के बढ़ती गर्मी के न सिर्फ दिल्ली के पारे को बढ़ा दिया बल्कि दिल्लीवासियों को भी पसीना पसीना कर दिया। हालांकि इस गर्मी से बचने के लिए लोग पानी का ज़्यादा से ज़्यादा इस्तेमाल भी कर रहे है ताकि इस तपती गर्मी से किसी भी हालात में बचा जा सके। एक कहावत तो आपने सुनी होगी जल ही जीवन है ये बात शत प्रतिशत सही भी है। लेकिन ये तो सिक्के का बस एक ही पहलू भर है। सिक्के के दूसरा पहलू की बात करें तो यहीं जल आदमी को अपनी और खींचता है खींचता ही नहीं बल्कि उसकी मौत का कारण भी बनता है। *क्या आप इसपर यकीन करेंगे कि दिल्ली में बहता पानी कई सौ मील दूर से आदमी को अपनी ओर खींचकर बुलाता
वीओ 1...देश की राजधानी दिल्ली के बवाना इलाके की मुनक नहर ये वो नहर है जो करोड़ो दिल्ली वासियों की प्यास बुझती है। लगातर बढ़ती गर्मियों के चलते नहर के आसपास रहने वाले परिवारों के बच्चे इस नहर में अक्सर नहाने आ जाते है। जानकारो की मानें तो इस नहर की गहराई तकरीबन 10 से 12 फ़ीट है। इसीलिए अक्सर यहां नहाने आने वाले बच्चे और बड़े इसकी गहराई में समा जाते है। और अपनी जान गंवा देते है। ऐसा नहीं है कि प्रशासन इस बात से बेखबर है प्रशासन ने इस नहर के गहरा होने के चलते नहर के आसपास खतरे के कई बोर्ड भी लागये है लेकिन इन सबको जानते और समझते हुए भी लोग यहां नहाने आते है और अक्सर इस नहर की गहराई में समा जाते है। दिल्ली बोट क्लब के आधिकारिक आंकड़ो के मुताबिक ....
GFX IN
दिल्ली में साल 2022 में इस नहर में डूबने से कुल43 लोगों की मौत हो गई। हर महीने के हिसाब से 3 से ज़्यादा लोगों की नहर में डूबकर मौत हो गई
साल 2023 में दिल्ली में नहर में डूबने से कुल 28 मौते हुई
साल 2024 में दिल्ली में नहर में डूबने से कुल 27 मौते हुई
जबकि साल 2025 में दिल्ली में नहर मई महीने तक ही 27 मौते हो चुकी है
GFX OUT
*Byte... अरमान इंचार्ज दिल्ली बोट क्लब*मुनक नहर
वीओ 2....दिल्ली बोट क्लब के अनुसार दिल्ली की नहरों में डूबकर हुई सभी मौतों में सबसे ज़्यादा मौते बवाना की मुनक नहर में डूबकर हुई हैं। बोट क्लब के इंचार्ज अरमान की मानें तो बवाना नहर में डूबने वाली घटनाओं का कोई वक़्त नहीं है। 24 घण्टे गोताखोरों को तैनात रखा जाता है। बवाना नहर में लगातार हो रहीं मौतों के चलते ही नहर के आसपास रहने वाले लोग अब दिल्ली की प्यास बुझाने वाली इस नहर को खूनी नहर कहते है। लोग तो यहां तक भी कहते है कि खूनी नहर खून की प्यासी है। शायद ही कोई सप्ताह ऐसा जाता है जब यहां किसी की मौत नहीं होती।
बाइट। सादे आलम (बवाना jj कॉलोनी ने रहने वाले)
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