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क्या फोरलेन कंपनी की लापरवाही से हुईं 42 जानें?
Nurpur, Himachal Pradesh
लोकेशन नूरपुर भूषण शर्मा
एक बार फिर रणजीत बख्शी जन कल्याण सभा ने निर्माणाधीन फोरलेन कंपनी को कटघरे में किया खड़ा
कहा --42 एक्सीडेंट सिर्फ ग्रोवर कंस्ट्रक्शन के कारण हुए जिसमें 10 लोगों की हुई मौत
पंजाब में ब्लैकलिस्ट कंपनी को हिमाचल में इतना बड़ा प्रोजेक्ट सौंपा जाना कहा तक है सही
केंद्रीय मंत्री एक बार स्वयं चैक करें ग्राउंड रियल्टी
एंकर -विधानसभा नूरपुर में दिन रात लोक सेवा के लिए समर्पित रणजीत बख्शी जन कल्याण सभा के अध्यक्ष अखिल बख्शी ने एक बार फिर निर्माणाधीन फोरलेन कंपनी पर करारा प्रहार करते हुए कटघरे में खड़ा किया है!
इस दौरान पत्रकारों से बातचीत करते हुए अखिल बख्शी ने कहा कि 2017 से फोरलेन निर्माण का प्रोसेस शुरू किया गया था लेकिन पिछले तीन सालों से यह कार्य जमीनी स्तर पर चल रहा है!
उन्होंने बताया कि उस दौरान लोगों को यह भरोसा दिलाया गया था कि 2024 तक यह कार्य खत्म कर दिया जाएगा!
लेकिन इसके बावजूद अभी तक यह कार्य अधर में लटका हुआ है तथा न जाने कितनी जिंदगियों के साथ इस दौरान खिलवाड़ किया गया और इतना ही नहीं कई घरों को भी इस दौरान उजाड़ दिया गया है!
उन्होंने बताया कि पिछले वर्ष तत्कालीन एसडीएम को इस विषय से अवगत भी कराया गया तथा लगभग दो महीनों के लिए कंपनी को यहां से निकाल दिया गया था! लेकिन दुर्भाग्य से जिस कंपनी को पंजाब में ब्लैकलिस्ट किया गया है! उसी कंपनी को हिमाचल में इतना बड़ा प्रोजेक्ट कैसे दे दिया गया!
अखिल बख्शी ने बताया कि पिछले दो वर्षों में इस कंपनी की एक्विटी के कारण 42 एक्सीडेंट हो चुके हैं जिसमें 10 से ज्यादा लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी है तथा बाकी घायल हुए हैं! इसके साथ न जाने कितने घर परिवार उजाड़े गए हैं,कितने व्यापारी ठगे जा रहे हैं! लेकिन पता नहीं क्यों किसी भी एफआईआर में एन एच ए आई का जिक्र तक नहीं किया गया! तो ऐसे में आगे भी इस कंपनी से किस तरह की उम्मीद की जा सकती है! उन्होंने कहा कि जब इस विषय पर जब एन एच ए आई के अधिकारी से पूछा तो उन्होंने लिखित में जबाब देते हुए कहा कि हमारी वजह से न तो किसी की जान गई है और न ही कोई नुक्सान हुआ है!
उन्होंने बताया कि बड़ी हैरानी की बात है कि हाल ही में फोरलेन की मशीन के नीचे नागाबाड़ी के युवक की जान गई थी और घंटों तक लोगों ने ट्रैफिक जाम रखा था! तब भी किसी ने कंपनी को जिम्मेदार नहीं ठहराया! बस सबने जाम खोलने तथा परिवार को मुआवजा देने की बात कही!
क्या एक व्यक्ति की जान की कीमत सिर्फ चार लाख रुपए है!
अखिल बख्शी ने प्रश्न उठाते हुए कहा कि अगर नूरपुर जैसे प्लेन एरिया में यह हाल है तो मंडी तक पहुंचते पहुंचते न जाने कितनी कुर्बानियां इनके द्वारा ली जाएगी!
उन्होंने केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी से आग्रह करते हुए कहा कि कम से कम एक बार ग्राउंड पर आकर इस रियलिटी को चैक करें ताकि आपको भी पता चले कि कितनी जानें और घर परिवार उजाड़े गए हैं!
बाइट -अखिल बख्शी (अध्यक्ष रंजीत बक्शी जनकल्याण सभा )
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